Sun. Nov 24th, 2024

सितारगंज सीट पर गुटों में बटी कांग्रेस कैसे जीतेगी चुनाव!

मुजाहिद अली
सितारगंज। उत्तराखंड में यह वर्ष चुनावी वर्ष है। भाजपा जहां बूथ स्तर पर जमीनी तैयारी में जुटी है तो वहीं कांग्रेस संगठन का सितारगंज विधानसभा में बुरा हाल है। सीधे सीधे तीन गुटों में बटी दिख रही कांग्रेस का संगठन जर्जर इमारत की तरह हो गया है। ऐसी स्थिति में कांग्रेस विधानसभा चुनाव में कैसे अपनी दमदार स्थिति दर्ज कराएगी, यह चिंता का विषय है।उत्तराखंड राज्य निर्माण से पूर्व से ही सितारगंज विधानसभा सभा सीट ‘होट सीट’ कही जाती है। साथ ही इस सीट पर कांग्रेस और भाजपा के बीच रस्साकशी का खेल भी होता रहा है।

वर्तमान में यह सीट भारतीय जनता पार्टी के कब्जे में है और पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा के पुत्र सौरभ बहुगुणा यहां से विधायक हैं। भाजपा पूरे प्रदेश में अपनी वर्तमान स्थिति को बनाए रखने के लिए जमीनी प्रयास कर रही है। कार्यकर्ताओं के प्रशिक्षण के साथ ही संगठन विस्तार का काम किया जा रहा है। इतना ही नहीं, भाजपा बूथ स्तर भी पहुंच चुकी है। जबकि दूसरी ओर, कांग्रेस का यहाँ बुरा हाल है। 5 वर्ष होने को है, पर कांग्रेस का कोई काम यहां तक की, कोई भी ‘मूमेंट’ नहीं दिखता। अब जबकि यह वर्ष चुनावी वर्ष है ऐसे में कांग्रेस संगठन का काफी कमजोर होना चिंताजनक है। इतना ही नहीं वर्तमान में कांग्रेस भी कई गुटों में बट चुकी है। कभी एकता की मिशाल रही कांग्रेस में इस वक्त पूर्व विधायक नारायण पाल, नवतेज पाल सिंह तथा श्रीमती मालती विश्वास गुटों में बंटी दिखती है।

इस गुटबाजी के पीछे खुद को एक दूसरे से बड़ा साबित कर कांग्रेस का टिकट हथियाने का खेल है। हांलाकि चुनाव 2022 जनवरी में होने हैं और तभी टिकट वितरण होंगे, लेकिन अभी से टिकट हथियाने का खेल कांग्रेस संगठन को तार तार कर रहा है। ऐसे में बड़ा सवाल यह है कि तीन तीन गुटों में बंट चुकी कांग्रेस क्या 2022 के चुनाव में भाजपा को टक्कर देगी या वाकओवर…।।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *